Question:

भारतीय दर्शन है 
 

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सूत्र: भारतीय दर्शन = साध्य मोक्ष, साधन आचरणव्यवहारिक। उदाहरण: योग के यम–नियम, गीता का कर्मयोग, बौद्ध अष्टाङ्ग मार्ग
  • परिकल्पनात्मक
  • व्यवहारिक
  • अतिव्यवहारिक
  • इनमें से कोई नहीं
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The Correct Option is B

Solution and Explanation

चरण 1: भारतीय दर्शन का लक्ष्य।
भारतीय परम्परा का मूल साध्य मोक्ष/दुःखनिवृत्ति है—अर्थात जीवन का व्यावहारिक रूपान्तरण। इसलिए ज्ञान का मूल्य केवल सैद्धान्तिक न रहकर आचरण-उन्मुख होता है।
चरण 2: सिद्धान्त–आचरण का समन्वय।
योग में यम–नियम से लेकर ध्यान–समाधि तक आचरण-क्रम है; गीता में निष्काम कर्म/स्वधर्म/लोक-संग्रह—सभी कर्म–आचरण से जुड़े; बौद्ध अष्टाङ्ग मार्ग, जैन व्रत–नियम, मीमांसा धर्मकर्म—ये सब जीवन-व्यवहार निर्देशित करते हैं। न्याय में प्रमा–प्रमाण का विश्लेषण इसलिए है कि यथार्थ ज्ञान से समुचित व्यवहार संभव हो।
चरण 3: विकल्पों का उन्मूलन।
(1) परिकल्पनात्मक (सिर्फ speculative) कहना अपूर्ण है—भारतीय दर्शन चिन्तन + साधना दोनों है। (3) अतिव्यवहारिक कोई मान्य शास्त्रीय श्रेणी नहीं। अतः उपयुक्त उत्तर व्यवहारिक
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