Question:

निज भाषा उन्नति अहै, सब उन्नति को मूल यह काव्य पंक्ति है ?

Updated On: Nov 10, 2025
  • अयोध्यासिंह उपाध्याय 'हरिऔध' की
  • मैथिलीशरण गुप्त की
  • भारतेन्दु हरिश्चन्द्र की
  • नरेश मेहता की
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The Correct Option is C

Solution and Explanation

'निज भाषा उन्नति अहै, सब उन्नति को मूल' भारतेन्दु हरिश्चन्द्र की प्रसिद्ध काव्य पंक्ति है। इसमें उन्होंने मातृभाषा के महत्व पर जोर दिया है।
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