Step 1: Understanding the Concept:
भारत की विदेश नीति स्वतंत्रता के बाद से ही कुछ मौलिक सिद्धांतों पर आधारित रही है। इसका मुख्य उद्देश्य भारत की संप्रभुता को बनाए रखना, क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा करना और तीव्र आर्थिक विकास को बढ़ावा देना है।
Step 2: Detailed Explanation:
(a) गुटनिरपेक्षता (Non-alignment): यह भारत की विदेश नीति का सबसे प्रमुख और केंद्रीय आधार रहा है। इसका अर्थ है कि भारत शीत युद्ध के दौरान किसी भी सैन्य गुट (संयुक्त राज्य अमेरिका के नेतृत्व वाले पश्चिमी गुट और सोवियत संघ के नेतृत्व वाले पूर्वी गुट) में शामिल नहीं हुआ। भारत ने स्वतंत्र रूप से विदेशी मामलों पर निर्णय लेने की नीति अपनाई।
(b) अमेरिका से दोस्ती: भारत के अमेरिका के साथ संबंध हैं, लेकिन यह विदेश नीति का एकमात्र या मुख्य आधार नहीं है। संबंध समय के साथ बदलते रहे हैं।
(c) चीन से दोस्ती: चीन भारत का एक महत्वपूर्ण पड़ोसी है, और शांतिपूर्ण संबंध बनाए रखना एक लक्ष्य है, लेकिन यह विदेश नीति का मुख्य आधार नहीं है, खासकर सीमा विवादों को देखते हुए।
(d) सोवियत संघ से दोस्ती: शीत युद्ध के दौरान भारत के सोवियत संघ के साथ घनिष्ठ संबंध थे, लेकिन यह दोस्ती भी गुटनिरपेक्षता की व्यापक नीति के तहत थी, न कि नीति का एकमात्र आधार।
Step 3: Final Answer:
उपरोक्त विकल्पों में से, गुटनिरपेक्षता वह सिद्धांत है जो दशकों से भारत की विदेश नीति का मार्गदर्शन करता रहा है। इसलिए, यह सबसे उपयुक्त उत्तर है।