अर्थशास्त्र में माँग का अर्थ है किसी वस्तु की वह मात्रा जिसे उपभोक्ता एक निर्धारित समय और निश्चित मूल्य पर क्रय‑शक्ति सहित खरीदने को तैयार हो। इसलिए चार चीजें स्पष्ट लिखी जाती हैं: वस्तु, मूल्य, समय और स्थान/बाज़ार। इच्छा के साथ paying capacity और willingness to pay अनिवार्य हैं, तभी अनुमानित माँग का तालिका या वक्र बनाया जा सकता है। इसके अतिरिक्त अन्य परिस्थितियाँ समान रहने की धारणा लगती है ताकि आय, रुचि, संबंधित वस्तुओं के मूल्य, विज्ञापन, अपेक्षाएँ आदि के प्रभाव को अलग रखा जा सके। परीक्षा के लघु‑उत्तर में इन तत्त्वों को एक‑एक शब्द में लिखना सबसे साफ रहता है और उदाहरण के तौर पर मोबाइल फोन की माँग में आय और कीमत के साथ समय अवधि अवश्य बताइए।